20+ सामाजिक स्टेटस इन हिंदी [july 2021] || samajik shayari status image in hindi
Mukul Saini जून 11, 2021
सामाजिक स्टेटस :- अगर आप सभी samajik status पढ़ने आयें हैं तो आपको ये ब्लॉग पूरा पढ़ना चाहिए। क्यूंकि यहां पर आपको सामाजिक शायरियों का एक संग्रह मिलेगा जिसके लिए में आशा करूँगा की वो आप सभी को पसंद आयेगा।
वक्त से खिलवाड़ ना कर क्यूंकि इसमें वक्त तेरे से भी बड़ा खिलाड़ी है।
सुना है मज़बूरी इंसान से कुछ भी करवा सकती है
तो फिर क्यों ना सक्सेस को ही अपनी मज़बूरी बना ली जाये।
फायदा खुद को समझने में है औरों को तो वक्त खुद-ब-खुद समझा देगा।
ठोकर से सिर्फ चोट ही नहीं बल्कि कामयाबी भी मिलती है
बस फर्क समझने वाले का है वो इसे चोट समझता है या कामयाबी का रास्ता
ज्ञान बिना अस्त्र-सस्त्र वाला योद्धा है जिसका साथ तुम्हे बिना लड़े कामयाबी दिला सकता है
>>> यह कुछ बेहतरीन शायरियां – ऐटिटूड शायरी इन हिंदी फॉर फेसबुक
किसी को बुरा कहंना तब तक माइने नहीं रखता
जब तक आपको अपनी अच्छाइयों का पता न हो।
मुश्किलें तो साँझ है जनाब
सवेरा आते आते डल ही जायेंगी – अज्ञात
सबका साथ आपकी उन खुशियों को दो गुना कर देता है
जिन्हे आप अक्सर अकेले में मनाते हो।
मुझको मिटाने की वजहा ढूंढ़ते है वो
मगर उन्हें मालूम नहीं की
खुद के लिए एक नई सज़ा ढूंढ़ते है वो।
गुजरता लम्हा दिखा रहा है
आने वाले पलों की सच्चाई को
खुद को खुदा कहने वाले पहले पूरा इंसान तो बन
किसी के दिल में जिन्दगी भर तो नहीं ठहर सकता मगर
उस दिल में थोड़े दिन का मेहमान तो बन
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चखूँगा स्वाद जीत का अब ये ठान लिया मेने
उठूंगा गिरूंगा और फिर उठूंगा क्यूंकि औरों से ज्यादा
खुद को जान लिया है मेने।
जितने तूने दिल जिलायें है
उससे कई ज्याद मैने रिश्तें निभायें है।
भूल चूका है वो ना भुलाने की बात करते करते
और मर चुके है हम उस संग जीने की बात करते करते।
पुरानी यादों का नशा न जाने क्यूँ
कुछ पल ही सही मगर दिल को सकूं दे जाता है।
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रिश्तों को भी कुछ इस क़दर बचाया कीजिये
कभी खुद मान जाइये तो कभी उनको मनाया कीजिये। – संजीव कुमार पात्रे
शिकायतें हज़ार है मगर
मगर दिल प्यार है
में काम वो किया करता हूँ जिसे लोग कहते
तुम नहीं कर सकते है।
हुस्न तारीफ और सादगी का मज़ाक होगा
यहीं दुनियादारी और दुनिया वालों का हिसाब होगा
नजर आता है डर ही डर, तेरे घर-बार में अम्मा
नहीं आना मुझे, इतने बुरे संसार मे अम्मा! – Sanjeev Kumar Patre
कभी छोटी-छोटी खुशियां, कभी इन आँखो मे पानी
कितनी मस्त थी वो बचपना, कितनी सख्त है ये जवानी! – Sanjeev Kumar Patre
गिरगिट के शहर मे, रंगो की दुकान देखी है!
दिल मे जहर, होंठो पे झूठ मुस्कान देखी है!
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अगर आप सभी को मेरे दुवरा बताये गये कुछ सामाजिक स्टेटस अगर पसंद आयें हैं तो कृपया कर इन सामाजिक शायरियों से जुडी टिप्पणी मुझे कमेंट करें
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